ट्रैफिक पुलिस विभाग से नहीं संभल रही ट्रैफिक व्यवस्था

पुरानी तहसील, सदरकांटा से लेकर घण्टाघर-चौराहा तक जाम का झाम



हाथ ठेला से फल बेचने वालों का फुटपाथ से लेकर बीच सड़क पर बेखौफ कब्जा

ललितपुर [जनकल्याण मेल] शहर में इन दिनों जहां एक ओर सहालग का दौर चल रहा है तो वहीं ग्रामीण अंचलों से भारी संख्या में लोगों का शहर के मुख्य बाजारों में खरीददारी करने एवं फसल बेचने के लिए नवीन गल्ला मण्डी में आना-जाना लगा हुआ है। ग्रामीण अंचलों से अधिकांश लोग ट्रैक्टरों व मोटर साइकिलों से आते हैं। निकटवर्ती ग्रामीण अंचलों के लोग टैक्सी से मुख्यालय पहुंचते हैं। ऐसे में शहर में आये दिन जाम की स्थिति बन जाती है। जिसका प्रमुख कारण शहर के मुख्य मार्गों पर बीच सड़क पर हाथ ठेलों का लगना और गल्ला मण्डी रोड पर भारी वाहनों का तेजी से आवागमन है। ऐसे में यातायात व्यवस्था को सुद्रढ़ रखने के लिए तैनात किये गये पुलिस कर्मी भी नदारत नजर आते हैं। आलम यह है कि शहर के कई अन्य रास्तों से लोगों को निकलकर गन्तव्य तक पहुंचना पड़ता है।

शहर में सुबह 10 बजे से वन-वे प्रणाली प्रभावी हो जाती है। इस प्रणाली के चलते वीर सावरकर चौक से मार्ग विभाजित होकर तालाबपुरा होते हुये सीधे तुवन चौराहा पर निकलता है, तो वहीं दूसरी ओर पुरानी तहसील चौराहा से विभाजित होकर घण्टाघर होते हुये एक तरफ सुचारू होता है। वन-वे होने का पूरा-पूरा लाभ उठाते हुये सदरकांटा से लेकर आजाद चौक तक सड़क के दोनों ओर पैदल राहगीरों के लिए बनाये गये फुटपाथ और बीच सड़क पर हाथ ठेला संचालकों द्वारा अवैध कब्जा कर लिया जाता है। इतना ही नहीं चर्चाओं में तो यह भी रहता है कि कुछ दुकानदार मासिक इकजाही लेकर अपनी दुकान के आगे सरकारी नाली पर तो स्वयं सामान रखकर कब्जा करते हैं तो वहीं दूसरी ओर फुटपाथ से लेकर सरकारी सड़क तक हाथ ठेला चालकों को खड़ा कर लेते हैं, जिससे आवागमन की रफ्तार काफी धीमी हो जाती है। करीब पचास फुट से अधिक के मैदान जैसी रोड प्रतिदिन सुबह से लेकर देर रात तक महज 10 फुट की ही नजर आती है, जिसमें टैक्सियां, बाइक्स और लोडिंग वाहन निकलते हैं। ऐसे में जब-जब यातायात विभाग कर्मी यहां से गुजरते हैं तो फुटपाथ पर हाथ ठेला करवा दिया जाता है, लेकिन उनके जाते ही पीछे से व्यवस्था फिर वही हो जाती है। संक्रीण होते मार्ग के चलते कई बार यहां विवाद की स्थिति बनी रहती है तो कही छोटे-छोटे हादसे जो कि कभी बड़ा रूप अख्तियार कर सकते हैं होते रहते हैं। वन-वे प्रणाली प्रभावी होने से रूट डायवर्ट होने के चलते तुवन चौराहा से लेकर तालाबपुरा होते हुये वीर सावरकर चौक तक भी अतिक्रमण और भीषण जाम लगा रहता है, जिस कारण लोगों को कहीं से भी निकलने में भारी असुविधाओं का सामना करना पड़ रहा है। ऐसे में जनहित में नगरवासियों ने पुलिस अधीक्षक से यातायात पुलिस को निर्देशित करते हुये यातायात व्यवस्था को सुद्रढ़ कराने के साथ ही जाम के झाम से निजात दिलाये जाने की मांग उठायी है।